रिपोर्टर- चरनजीत बंजारा
समाजसेवी राम बिहारी गोस्वामी एवं शिशु गहन चिकित्सा इकाई के प्रभारी डॉ योगेंद्र चतुर्वेदी के प्रयासों से पीड़ित मासूम बच्चे को समय पर मिला खून
पन्ना जिले के अजगगढ़ तहसील क्षेत्र के ग्राम सिंहपुर निवासी श्रीमती कमला बाई पति राजू प्रजापति द्वारा दिनांक 21 अप्रैल 2020 को जिला चिकित्सालय पन्ना में एक नवजात बालक को जन्म दिया था । जन्म के उपरांत जिला चिकित्सालय में उपचार व्यवस्थाएं बेहतर उपलब्ध ना होने के चलते जननी ने दम तोड़ दिया था।जिसके बाद से मासूम बच्चे को शिशु गहन चिकित्सा इकाई में भर्ती किया गया है। जहां पर मासूम बच्चे का विगत 26 दिनों से निरंतर उपचार जारी है। जहां पर शिशु गहन चिकित्सा इकाई के प्रभारी डॉ योगेंद्र चतुर्वेदी एवं शिशु चिकित्सक डॉ जितेंद्र खरे द्वारा नवजात बच्चे का निरंतर उपचार किया जा रहा है। डॉ योगेंद्र चतुर्वेदी ने बतलाया कि नवजात बच्चा जन्म से कम वजन का था और कम समय में जन्म लिया था। जिसके चलते ऐसे बच्चों में खून की कमी अक्सर बन जाती है। शिशु गहन चिकित्सा इकाई पन्ना शिशु रोग चिकित्सक जितेंद्र खरे द्वारा नवजात बच्चे को खून की कमी बतलाई गई। जिसके बाद पीड़ित परिजनों को दूरभाष पर जानकारी दी गयी। मगर परिवार के सदस्यों ने नवजात बच्चे की खैर लेना भी उचित नहीं समझा और ना ही फोन उठाया और ना ही बच्चे को देखने जिला चिकित्सालय पहुंचे। ऐसी परिस्थितियों में भगवान के रूप में डॉ योगेंद्र चतुर्वेदी द्वारा अपने स्तर पर प्रयास किया गया तथा जिला चिकित्सालय सहित अपने मित्र गणों से बी नेगेटिव ब्लड की जरूरत के संबंध में बताया गया। जब कहीं पर भी बी नेगेटिव ब्लड उपलब्ध नहीं हुआ तब उनके द्वारा जिले के समाजसेवी राम बिहारी गोस्वामी को खून की कमी के संबंध में जानकारी दी गई। समाजसेवी श्री गोस्वामी द्वारा सोशल मीडिया पर संदेश प्रसारित किया गया । जिसके बाद पन्ना नगर के किशोर गंज मुहल्ला निवासी सिविल कांट्रेक्टर समाजसेवी अजय कांत खरे ने जैसे ही नवजात बच्चे को खून की कमी के संबंध में संदेश पढ़ा उन्होंने बिना कोई विलंब किए स्वेच्छा से रक्तदान करने की सहमत प्रदान की । इसके बाद वह दिनांक 16 मई को सुबह जिला चिकित्सालय के ब्लड बैंक पहुंचे और उन्होंने स्वेच्छा से शिशु गहन चिकित्सा इकाई के प्रभारी डॉ योगेंद्र चतुर्वेदी एवं समाजसेवी राम बिहारी गोस्वामी की मौजूदगी में रक्तदान किया गया है। रक्तदान दाता सिविल कांट्रेक्टर समाजसेवी अजय कांत खरे ने बताया कि बी नेगेटिव ब्लड की बहुत कम जरूरत पड़ती है । लेकिन जब कभी भी किसी व्यक्ति को पड़ती है तो यह ब्लड बहुत खोजने के बाद ही उपलब्ध हो पाता है। ऐसी परिस्थितियों में जब जब भी उन्हें किसी के संबंध में जानकारी प्राप्त होती है तो अपने निजी वाहनों से पन्ना सतना छतरपुर में पहुंचकर जरूरतमंद लोगों को रक्तदान करने पहुंचते हैं। उनके द्वारा अभी तक 10 बार से ज्यादा रक्तदान किया गया है । रक्तदान दाता श्री खरे ने लोगों से अपील की है कि जब भी किसी जरूरतमंद व्यक्ति को खून की जरूरत पड़ती है और यदि आपका खून उस व्यक्ति के लिए जीवन बचाने के लायक है , तो बिना किसी विलंब के पहुंचकर रक्तदान अवश्य करें। क्योंकि रक्तदान से बढ़कर कोई दान नहीं होता है।